छत्तीसगढ़ : अर्बन नक्सली नेटवर्क के तार बस्तर और सरगुजा से निकलकर राजधानी रायपुर तक, बिना बिल इलेक्ट्रॉनिक सामान सप्लाई को लेकर दुकान संचालक हिरासत में

रायपुर. छत्तीसगढ़ में अर्बन नक्सली नेटवर्क के तार लंबे होते जा रहे हैं। अब बस्तर और सरगुजा से निकलकर राजधानी रायपुर तक पहुंच गए हैं। कांकेर पुलिस ने गुरुवार को इस मामले में आजाद चौक स्थित वीआईटी कंप्यूटर में छापा मारकर संचालक हितेश अग्रवाल को हिरासत में लिया है। आरोप है कि उसने नक्सलियाें को वॉकी-टॉकी, कंप्यूटर सहित अन्य इलेक्ट्रॉनिक सामान सप्लाई किया है।

सांकेतिक फोटो

जानकारी के मुताबिक, दुकान संचालक हितेश अग्रवाल पर कार्रवाई ठेकेदार से मिले इनपुट के आधार पर पुलिस ने की है। बताया जा रहा है कि वीआईटी कंप्यूटर के संचालक से नक्सलियों के लिए कुछ वॉकी-टाॅकी, कंप्यूटर सहित अन्य सामान खरीदा गया था। आरोप है कि इन सब सामानों को बिना बिल के ही हितेश ने बेचा था। फिलहाल पुलिस टीम उसे अपने साथ कांकेर ले गई है। जहां उससे पूछताछ के बाद ही स्पष्ट हो सकेगा। 

24 अप्रैल को ठेकेदार सहित 5 लोग हुए थे गिरफ्तार
कांकेर पुलिस ने 24 मार्च को सिकसोड़ क्षेत्र में चेकिंग के दौरान बोलेरो गाड़ी से नक्सली वर्दी के ब्रांडेड कपड़े, जूते, वॉकी-टाॅकी व अन्य सामग्री भारी मात्रा में बरामद की थी। इस दौरान राजनांदगांव निवासी ठेकेदार दयाशंकर मिश्रा को गिरफ्तार किया गया था। उससे हुई पूछताछ के बाद राजनांदगांव निवासी अजय जैन व कोमल प्रसाद वर्मा, कोयलीबेड़ा निवासी रोहित नाग, मेरठ यूपी निवासी सुशील शर्मा व बालाघाट एमपी निवासी सुरेश शरणागत पकड़े गए। 

सुकमा में भी थानेदार सहित 4 लोग पकड़े गए थे
इसके बाद नक्सलियों के अर्बन नेटवर्क से जुड़े थानेदार आनंद जाटव और हेडकांस्टेबल सुभाष सिंह सहित 4 लोगों को सुकमा पुलिस ने गिरफ्तार किया। पकड़े गए दोनों आरोपी नक्सलियों को सरकारी कारतूस सप्लाई करते थे। पकड़े गए आरोपियों में धमतरी निवासी मनोज शर्मा व गुंडरदेही निवासी हरीशंकर गेडाम भी शामिल हैं। पुलिस ने इनके पास से 695 कारतूस बरामद किए थे। 

Exit mobile version