(भाषा से इनपुट)
नई दिल्ली : देश के 700 जिलों में से लगभग एक चौथाई जिले कोरोनावायरस हॉटस्पॉट घोषित किए जा चुके हैं. सरकार का कहना है कि देश में 170 जिले कोरोना हॉटस्पॉट हैं. सरकार के मुताबिक 207 जिलों पर कोरोनावायरस हॉटस्पॉट बनने का खतरा भी है. केंद्र ने राज्य सरकारों को इस बाबत निर्देश दिए हैं कि वे इन जिलों में कोरोना की महामारी को कंटेन करें. हॉटस्पॉट जिलों में कोरोना से लड़ने के लिए स्पेशल टीमें कार्यरत हैं. टीमें डोर टू डोर सर्वे करने के साथ-साथ लोगों की टेस्टिंग भी कर रही हैं.

रेड जोन जिले जहां कोरोना महामारी ज्यादा फैली है, की संख्या 123 है. बिहार, चंडीगढ़,छत्तीसगढ़,ओडिशा और उत्तराखंड में एक-एक जिला; कर्नाटक में तीन; पश्चिम बंगाल,पंजाब और हरियाणा में चार-चार जिले; गुजरात और मध्यप्रदेश में पांच-पांच जिले; जम्मू-कश्मीर और केरल में 6-6 जिले;तेलंगाना में 8 ;दिल्ली और उत्तर प्रदेश में 9 जिले; महाराष्ट्र,आंध्र प्रदेश और राजस्थान में 11-11 जिले; तमिलनाडु में सबसे ज्यादा 22 जिले शामिल हैं.
क्लस्टर सहित कोरोना हॉटस्पॉट जिलों की संख्या 47 है. जिसमें दिल्ली,तेलंगाना, ओडिशा, राजस्थान, मध्यप्रदेश,केरल,लद्दाख,गुजरात,अंडमान निकोबार और छत्तीसगढ़ में एक-एक जिला. हरियाणा, जम्मू-कश्मीर, उत्तराखंड, झारखंड के दो-दो जिले. महाराष्ट्र और बिहार के तीन-तीन जिले. यूपी और पंजाब के चार-चार जिले.
असम, हिमाचल प्रदेश और कर्नाटक के पांच-पांच जिले शामिल हैं.
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने देश में कोरोना वायरस के संक्रमण की अधिकता वाले 170 हॉटस्पॉट जिलों की पहचान की है. इसके अलावा संक्रमण के प्रभाव वाले 207 ऐसे जिले भी चिन्हित किये गये हैं, जो हॉटस्पॉट तो नहीं हैं लेकिन संक्रमण की वृद्धि दर को देखते हुये ये जिले संभावित हॉटस्पॉट की श्रेणी में रखे जा सकते हैं. मंत्रालय में संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने बुधवार को नियमित संवाददाता सम्मेलन में कोरोना वायरस संकट से निपटने के लिये लॉकडाउन की अवधि बढ़ाये जाने के बाद सरकार की आगामी रणनीति का खुलासा करते हुये यह जानकारी दी.
उन्होंने कहा कि 20 अप्रैल तक देश के सभी जिलों में कोरोना संक्रमण को रोकने के उपायों का सख्ती से पालन और आकलन सुनिश्चित किया जायेगा. अग्रवाल ने कहा कि इन जिलों के सर्वाधिक संक्रमण प्रभावित इलाकों में मरीजों की शीघ्र पहचान करने के लिये घर घर जाकर सर्वेक्षण किया जायेगा. इसके तहत जिले के स्वास्थ्य और राजस्व विभाग के अधिकारी घर घर जाकर खांसी, बुखार और सांस की तकलीफ वाले मरीजों की पहचान कर यह सुनिश्चित करेंगे कि इनमें कोरोना वायरस का संक्रमण तो नहीं है.
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