लाल किला प्राचीर से प्रधानमंत्री जी द्वारा पैंशन बहाली व अर्धसेना झंडा दिवस कोष की घोषणा ना करने से लाखों पैरामिलिट्री चौकीदारों में रोष


नई दिल्ली
लाल किला प्राचीर से प्रधानमंत्री जी द्वारा पैंशन बहाली व अर्धसेना झंडा दिवस कोष की घोषणा ना करने से लाखों पैरामिलिट्री चौकीदारों में रोष

राष्ट्र के 75वें आजादी अमृत महोत्सव के पावन अवसर पर सरहदी चौकीदारों को माननीय प्रधानमंत्री जी से बहुत आशाएं थीं कि इस बार 15 अगस्त को लाल किला प्राचीर से पुरानी पैंशन बहाली, अर्ध सेना झंडा दिवस कोष स्थापना व अन्य कल्याणकारी योजनाओं की घोषणा करेंगे लेकिन 20 लाख पैरामिलिट्री परिवारों को निराशा व हताशा हाथ लगी।
कॉनफैडरेसन ऑफ एक्स पैरामिलिट्री फोर्सेस मार्टियरस वेलफेयर एसोसिएशन महासचिव रणबीर सिंह ने प्रैस विज्ञप्ति जारी करते हुए कि लाखों पैरामिलिट्री फोर्स के जवानों व उनके परिवारजनों के कल्याण एवं पुनर्वास हेतु सेना झंडा दिवस कोष स्थापना हेतु माननीय प्रधानमंत्री जी को पत्र लिखा गया था ओर इस कोष की स्थापना हेतु 2 फरवरी 2021 को प्रतिनिधि मंडल द्वारा केन्द्रीय गृह सचिव से नॉर्थ ब्लॉक कार्यालय में मुलाकात की गई तब माननीय गृह सचिव द्वारा सरदार पटेल के जन्मदिवस 31 अक्टूबर या पुलिस शहीद दिवस 21 अक्टूबर को घोषणा करने का आश्वासन दिया गया था। अर्ध सैनिक बलों की जायज मांगों को लेकर पिछले 5 सालों में केंद्रीय गृह राज्यमंत्री श्री नित्यानंद राय से 4 बार मुलाकातें की गई लेकिन निराशा ही हाथ लगी। ऐसा लगता है कि सरकार अर्ध सैनिक बलों के भलाई संबंधित मुद्दों के प्रति गंभीर नहीं है साथ ही साथ इच्छाशक्ति की कमी साफ झलक रही है।
ज्ञातव्य रहे कि पुरानी पैंशन बहाली, सीपीसी कैंटीन पर जीएसटी छूट, राज्यों में अर्धसैनिक कल्याण बोर्ड के गठन, अर्ध सेना झंडा दिवस कोष की स्थापना व अन्य सुविधाओं को लेकर 3 सितंबर 2021 को महासचिव रणबीर सिंह के नेतृत्व में प्रतिनिधिमंडल द्वारा महामहिम पुर्व राष्ट्रपति जी श्री रामनाथ कोविंद जी से राष्ट्रपति भवन में मुलाकात कर ज्ञापन सौंप गुहार लगाई गई।

रणबीर सिंह आगे कहते हैं कि तिरंगे एवं राष्ट्र की आन बान और शान के लिए आए दिन जवान शहीद होते रहते हैं। हम सरकार से अर्ध सेना झंडा कोष की स्थापना की ही तो मांग कर रहे हैं जिसमें किसी अतिरिक्त बजटीय प्रावधान की आवश्यकता नहीं बल्कि लाखों करोड़ों भारतवासी इस कोष में स्वेच्छा से दान करेंगे जिससे उपरोक्त कोष से मिलने वाली सहायता धनराशि का उपयोग पैरा मिलिट्री परिवारों के शहीद हुए जवानों की विधवाओं, रिटायर्ड सैनिकों के कल्याण-पुनर्वास, बेहतर शिक्षा-स्वास्थ्य की देखभाल की जा सकेगी। उपरोक्त भलाई संबंधित मुद्दों को लेकर कॉनस्टीचयूसन क्लब नई दिल्ली में दिनांक 12 सितंबर 2022 को ऑल इंडिया एक्स पैरामिलिट्री सेमिनार आयोजित किया जाएगा जिसमें राज्यों में गठित वेलफेयर एसोसिएशन के चुनिंदा प्रतिनिधि शामिल होंगे। आगे की रणनीति पर विचार कर रूपरेखा तैयार कर अगले कदम की सामुहिक घोषणा की जाएगी। पुर्व एडीजी श्री एचआर सिंह के नेतृत्व में एक झंडे के नीचे आने के लिए सभी वेलफेयर एसोसिएशनों को निमंत्रण दिया जा रहा है। आने वाले 2024 के आम चुनावों को ध्यान में रखते हुए शांति पुर्ण आंदोलन की शुरुआत की जाएगी। देश की कुल आबादी के 5 प्रतिशत पैरामिलिट्री परिवारों की जायज मांगों की अनदेखी आने वाले चुनावों में किसी भी सरकार को भारी पड़ेगी।

सरकारें भूल रहीं हैं कि बूथ से लेकर बॉर्डर, संसद से सड़क, लद्दाख से अरुणाचल, काश्मीर से कार-निकोबार यानी पुरे राष्ट्र की चाक चौबंद चौंकिदारीं हम सुरक्षा बलों के जवान कर रहे हैं लेकिन सुविधाओं के नाम पर हताषा महसूस कर रहे हैं। सुरक्षा बलों के कैडर आफिसर्स कमान अधिकारी से लेकर डिप्टी कमांडेंट, कमांडेंट डीआईजी आईजी तक लम्बे समय तक प्रमोशन का इंतजार कर रिटायर्ड हो रहें हैं ओर गृह मंत्रालय द्वारा प्रमोशन फ़ाइलों पर अति शीघ्र निर्णय नहीं लिए जा रहे। जहां तक निचले स्तर पर कार्यरत सिपाही, हवलदार उपनिरीक्षक,निरिक्षकों के पदोन्नति के मामले है कोई खास प्रगति नहीं हुई। सिपाही को हवलदार बनने पर 18- 20 सालों का इंतजार करना पड़ रहा है। एक ही रैंक में लम्बे समय तक प्रमोशन नहीं मिलने व लम्बे समय से घर परिवार से दूर जवान मानसिक तनाव के शिकार हो रहे हैं जिसकी वजह से अक्सर आपसी शूटआऊट एवं आत्महत्याओं की घटनाएं सुनने देखने को मिल रही हैं। पुर्व अर्धसैनिकों के कल्याण एवं पुनर्वास के नाम पर बना वार्ब एक सफेद हाथी साबित हो रहा है।

29 जुलाई 2019 माननीय गृह मंत्री जी से महासचिव रणबीर सिंह के नेतृत्व में 29 जुलाई 2019 में संसद भवन में प्रतिनिधिमंडल द्वारा मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा गया था तब माननीय श्री अमित शाह जी ने आश्वासन दिया था कि ज्ञापन पर लिखे बिंदुओं पर गौर कर प्रतिनिधि मंडल को जल्दी ही नॉर्थ ब्लॉक कार्यालय बुलाएंगे लेकिन आज तक बुलावा नहीं आया। हां उम्मीदें बरकरार है कि अवश्य ही माननीय प्रधानमंत्री जी पैरा मिलिट्री चौंकिदारों के लिए बौन्नजा घोषित करेंगें जिनके बीच में आए साल सरहदों पर दिवाली मनाते हैं।

रणबीर सिंह
महासचिव