छ.ग. राजधानी रायपुर में निगम ठेकेदार कैसे कर रहे बिना टेंडर भरे.
बगैर वर्क ऑर्डर के सरकारी काम .
किसके आदेश से हो रहा सरकारी कार्य का भुगतान…
Reported by : दिनेश चन्द्र कुमार (रायपुर)…
रायपुर : राजधानी नगर निगम क्षेत्र में नियमों को ताक पर रख कर अधिकारी द्वारा ठेकेदारों से बिना टेंडर भरे काम करवाया जा रहा. जिसके बारे में स्थानीय जनप्रतिनिधियों को भी कुछ पता नहीं है, वहीँ निगम ठेकेदारों को आखिर बिना निगम टेंडर भरे, बगैर वर्क आर्डर के सरकारी कार्य करने का आदेश कौन कर रहा है, साथ ही इस कार्य पर भुगतान कौन और कैसे कर रहा है.?
ऐसे ही छत्तीसगढ़ राजधानी नगर निगम क्षेत्र जोन 5 के अंतर्गत लाखे नगर स्थित हिन्द स्पोर्टिंग मैदान में घेराबंदी कार्य का मामला सामने आया हैं. जहाँ पर निगम ठेकेदार अरुण साहू द्वारा बिना टेंडर भरे व बिना वर्क आर्डर के कार्य करवाया जा रहा है.
रायपुर निगम क्षेत्र में काम कर रहे है , वर्तमान में हिन्द स्पोर्टिंग मैदान में विगत 3 सप्ताह से मैदान की घेराबंदी कार्य चल रहा है. हैरान करने वाली बात यह है कि यहाँ निगम से जारी टेंडर को ठेकेदारों द्वारा भर कर जमा करने एवं टेंडर प्रपत्र की खुलने की तारीख आगामी समय में 20 नवंबर 2020 शाम 4 बजे निर्धारित है, फिर यहाँ निगम ठेकेदार अरुण साहू द्वारा विगत तीन सप्ताह से कार्य कैसे किया जा रहा है, और किस सरकारी आदेश के तहत किस सरकारी तंत्र से कौन से निर्धारित दर पर यहाँ भुगतान होगा ?, या हो रहा है ?
मामले में छत्तीसगढ़ डाइजेस्ट न्यूज़ के सवांददाता दिनेश चंद्र कुमार ने जब निगम ठेकेदार अरुण साहू से बात करने की कोशिश की तो वह बात करने व मिलकर जानकारी देने में आनाकानी करने लगा साथ ही, इस पर पूर्ण जानकारी लेने जोन 5 पहुँचे पत्रकार ने कार्यालय के कार्यपालन अभियंता से बात करने की कोशिश की तो उन्होंने टेंडर विषय पर कोई भी जानकरी न देते हुवे इस विषय पर जोन कमिशनर चंदन शर्मा से बात करने को कहा. वहीँ पत्रकार द्वारा जोन कमिश्नर चंदन शर्मा ने टेंडर कार्य पर सवाल पर यह कहा गया कि – “फाइल देख कर बता पाउँगा… अभी मैं मीटिंग में जा रहा हूँ !”
गौरतलब यह है कि राज्य के इन सरकारी कार्यो को जब आज तक टेंडर पद्धति से करवाया जाता रहा है जिन कामो के लिए निविदायें निकाल कर निगम दरों पर ठेकेदार से काम करवाया जाता रहा हैं , वहीँ वर्तमान में निगम अधिकारीयों द्वारा अपने-अपने चहेते ठेकेदारों द्वारा बिना निविदा के कार्य करवाये जाने की बात सामने आ रही है ।
निगम क्षेत्रो में बिना टेंडर निकले व इस तरह से बिना टेंडर भरे, बिना वर्क आर्डर के कार्य कैसे किये जा सकते है , साथ ही सवालों पर आनाकानी करना व इस तरह के मामलों में ठेकेदारों द्वारा जोन कमिश्नर एवं अन्य प्रशासनिक अधिकारीयों का नाम लेना भी साफ-साफ एक बड़े घोटाले की ओर इशारा कर रहा हैं.
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