जशपुर : सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र दुलदुला में बीती आधी रात को अस्पताल का औचक निरीक्षण करने पहुँचे कलेक्टर रितेश अग्रवाल और संसदीय सचिव यूडी के साथ आये निरीक्षण टीम के द्वारा अस्पताल के भीतर ही डॉक्टरों के साथ मार पीट कर दी गयी।
इस घटना से आहत अस्पताल के 2 डॉक्टरों ने रात को ही बीएमओ को अपना त्यागपत्र दे दिया और इस्तीफे के लेटर को सोशल मीडिया में वायरल भी कर दिया।इस्तीफे के लेटर के साथ साथ डॉक्टरों ने उनके साथ हुई मारपीट का सीसीटीवी फुटेज भी सोशल मीडिया में वायरल कर दिया ।
अस्पताल के डॉक्टर महेश्वर माणिक और नीतीश सोनवानी द्वारा दुलदुला बीएमओ को दिये गए रिजाईएनेशन लेटर में लिखा है कि कलेक्टर और संसदीय सचिव रात करीब पौने 12 बजे निरीक्षण के लिए अस्पताल आये थे। इनके निरीक्षण टीम के कुछ लोग नशे में धुत्त थे और नशे में धुत्त होकर उन्होंने उनके साथ मार पीट और धक्का मुक्की करना शुरु कर दिया। इस घटना से वह अपमानित महशूस कर रहे हैं इसलिए वे त्यागपत्र दे रहे है।
डॉक्टरों द्वारा मार पीट और धक्का मुक्की के कैमरे में कैद सीन का फुटेज भी वायरल किया गया है जिसमे एक काले रंग का टी शर्ट पहने युवक दौड़ कर आता है और डाक्टर को पीटने लगता है।
इस सम्बंध में डॉक्टर निशांत सोनवानी ने मीडिया बताया कि उनके साथ मार पीट करने वाले नशे में थे। यह पूछे जाने पर कि क्या मारपीट कलेक्टर और संसदीय सचिव की मौजूदगी में हुई उन्होंने बताया कि उन्हें ठीक से पता नहीं है, सम्भवतः कलेक्टर और संसदीय सचिव उस वक्त निरीक्षण करके जा चुके थे। उनके जाने के बाद निरीक्षण टीम के कुछ लोग अस्पताल में ही रुक गए और फिर जो हुआ वो सीसीटीवी में कैद है।

आपको बता दें कि दुलदुला सामुदायिक अस्पताल आये दिन नए नए कारनामो को लेकर सुर्खियों में रहता आ रहा है। अभी कुछ दिन पहले ही अस्पताल का अटेंडेंस रजिस्टर फाड़े जाने का मामला सामने आया था जिसको लेकर पुलिस और विभागीय जाँच अभी भी चल रही है। इधर आगामी महीने में होने वाले सीएम के दौरे को लेकर प्रशासन और स्थानीय विधायक लगातार क्षेत्र का दौरा कर रहे हैं और गाँव गाँव जाकर जनसमस्याएं सुनी जा रही है और समस्याओं का त्वरित हल भी निकाला जा रहा है ताकि सीएम के आने पर सीएम के सामने कोई समस्या मुद्दा न बने।
इस मामले में कलेक्टर रितेश अग्रवाल ने मीडिया को बताया कि CCTV फुटेज की बात सामने आई है, उन्होंने कहा कि कौन किसके साथ और क्यों मारपीट हुई इन तथ्यों की जाँच की जाएगी। शिकायत मिलने के बाद जाँच टीम बना दी गयी है। जाँच टीम के द्वारा पूरी घटना की जाँच की जाएगी और दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई भी होगी। उन्होंने कहा कि घटना उनकी मौजूदगी में नही हुई है। डॉक्टरों ने जो त्यागपत्र के कारणों के बिंदु दर्शाए हैं उन बिंदुओं की जाँच की जाएगी।