Thursday, April 25, 2024

वीडियो / पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह भूल चुके है “चिकित्सात पुण्यतम न किञिचत” – विकास तिवारी

Chhattisgarh Digest News Desk ; Edited by : Nahida Qureshi, Farhan Yunus.

डॉ रमन सिंह और उनके दामाद डॉ पुनीत गुप्ता को रोजाना चिकित्सकीय धर्म निभाते हुवे कोरोना मरीजो का ईलाज निःशुल्क करना चाहिये.

रायपुर/ छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता विकास तिवारी ने पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह से अनुरोध करते हुवे कहा है कि कोरोना कोविड 19 महामारी के राज्य में चिकित्सकों की बहुतायत कमी हो रही है जिसके के कारण खुद पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह है। भाजपा शासन काल मे विशेषज्ञ चिकित्सको के कुल रिक्त पद 1525 थे जिसमें मात्र 175 पदों में ही नियुक्ति की गयी थी। उसी प्रकार चिकित्सा अधिकारी के 689 पर रिक्त रहे जिसका खामियाजा आज पूरे प्रदेश को भोगना पड़ रहा है।भजापा सरकार का एकमात्र लक्ष्य कमीशनखोरी करना था। इस कारण बड़े पैमाने में विशेषज्ञ एवं चिकित्सा अधिकारियों भर्ती नही की गयी थी। इसके अलावा मेडिकल स्टाफ,नर्सिंग स्टाफ,लैब टेक्नीशियन की भी भर्ती रमन सरकार के समय नही की गयी थी,जबकि किसी भी राज्य में मूलभूत स्वास्थ सुविधाओ और अधोसंरचना निर्माण सरकार की प्राथमिकता होती है पर रमन राज में प्रदेश के स्वास्थ व्यवस्था लचर और चरमराई हुई थी जबकि पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह खुद एक आयुर्वेदाचार्य (चिकित्सक) थे।

पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह “चिकित्सात पुण्यतम न किञिचत” को भूल चुके है.

कोरोना महामारी के समय विश्व विख्यात आयुर्वेदिक चिकित्सक शोसल मीडिया में व्यस्त है जबकि उन्हें अस्पताल में होना चाहिये.

विकास तिवारी

रोजाना दो-दो घण्टे ओपीडी और कम से कम दो घंटे आईपीडी में दोनों डॉक्टरों को मरीजो की सेवा करनी चाहिये

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कांग्रेस प्रवक्ता विकास तिवारी ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह इस प्रदेश की जनता ने तीन बार प्रदेश का नेतृत्व सौंपा और भारतीय जनता पार्टी की सरकार उनके नेतृत्व में बनवायी है।आज जब प्रदेश की जनता कोरोना कोविड-19 महामारी से संक्रमित हो रही है लोगों को लगातार चिकित्सकों की आवश्यकता महसूस हो रही है तब उस समय पूर्व मुख्यमंत्री एवं भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डॉ रमन सिंह को जो कि एक विश्व प्रसिद्ध आयुर्वेदाचार्य (चिकित्सक) हैं जिनकी ख्याति कवर्धा क्षेत्र के आसपास फैली हुई थी कवर्धा की जनता बताती है कि डॉ रमन सिंह के हाथों में जादू है और जिस किसी भी मरीज का इलाज करते हैं उसे तत्काल फौरी राहत मिलती थी चाहे वो कितना भी जटिल बीमारी हो उसी प्रकार उनके दामाद डॉ पुनीत गुप्ता जो कि एक नेफ्रोलॉजिस्ट (किडनी रोग विशेषज्ञ) इनकी भी ख्याति डीकेएस अस्पताल से निकलकर पूरे देश-विदेश में फैली हुई है जिन्होंने किडनी रोग से ग्रसित मरीजो के लिये एक महत्वपूर्ण अविष्कार “मैक-डी” डायलिसिस जैकेट है,जिसे पहनने मात्र से जटिल किडनी का डायलसिस आसानी से हो जाता है। कोरोना कोविड-19 वायरस फेफडा,गुर्दा में तेजी से फैलती है जिसके की विशेषज्ञ डॉ रमन सिंह एवं डॉ पुनीत गुप्ता है।

प्रवक्ता विकास तिवारी ने पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह को उनके चिकित्सक की शपथ में कहे गए वाक्य “चिकित्सात पुण्यतम न किञिचत” को याद दिलवाते हुवे कहा है कि धरती के भगवान डॉक्टर माने गए हैं और कोरोना कोविड 19 महामारी के समय पूर्व मुख्यमंत्री डॉक्टर रमन सिंह और उनके दामाद डॉ पुनीत गुप्ता इस वाक्य और चिकित्सकीय शपथ को भूल गये हैं जबकि उनको सुबह दो घंटा और शाम को दो घंटा ओपीडी लगाकर कोरोना कोविड 19 महामारी के संदिग्ध और ग्रसित लोगों की जांच निःशुल्क करनी चाहिये एवं रोजाना 2 घंटे आईपीडी आयुष अस्पताल,डीकेएस अस्पताल,अंबेडकर अस्पताल में अवश्य करनी चाहिये।इस हेतु उन्हें तत्काल एक आवेदन पत्र कांग्रेस सरकार के मुखिया भूपेश बघेल को संबोधित करते हुवे प्रेषित करना चाहिये और निरंतर मरीजों की सेवा निःशुल्क करनी चाहिये जिससे कि उनका समय भी कटेगा और उनके कारण प्रदेश में जो चिकित्सकों की कमी थी उसमें थोड़ी रिक्ता को भरा जा सकेगा।

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