महानगर पालिका अंतर्गत सफाई कर्मचारियों की दुर्दशा, भारतीय सफाई मजदूर परिषद का आरोप…

Chhattisgarh Digest News Desk ; Edited by : Nahida Qureshi, Farhan Yunus.

Reported by : सलीम कुरैशी (पालघर)

वसई विरार शहर महानगर पालिका अंतर्गत काम करने वाले सफाई कर्मचारियों की दुर्दशा !!!

महाराष्ट्र/वसई :  कोरोना मह्मारी के चलते वसई विरार शहर महानगर पालिका अंतर्गत सफाई काम करनेवाले सफाई कर्मचारियों की हालात दिनबदिन ख़राब होते जा रही है और उनकी सुनने वाला कोई नहीं है. भारतीय सफाई मजदूर परिषद के अध्यक्ष बलवीर वैद ने इस प्रकार का आरोप लगाते हुये महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री, चीफ सेक्रेटरी, कामगार मंत्री, कामगार आयुक्त, जिलाधिकारी पालघर, आयुक्त वसई विरार शहर मनपा इत्यादि सहीत मा.न्यायाधीश वसई नायालय को पत्र लिखकर न्याय की गुहार लगाई है। 

सांकेतिक चित्र

  उन्होंने पत्र में इन कोरोना योद्धा सफाई कर्मचारियों से अच्छा बर्ताव नहीं करने तथा कोरोना काल मे पर्याप्त साधन नहीं देकर उनके जीवन से खिलवाड़ करने के गंभीर आरोप लगाये है। साथ ही सफाई कर्मचारियों की शिकायत पर कोई ध्यान नहीं देने की बात कही है। 50 लाख का बीमा होने का ताना देकर जबरदस्ती सफाई काम के आलावा दूसरे काम करवाये जाने की शिकायत और काम से सस्पेंड करने की धमकी  बार-बार दिये जाने की शिकायत की है। 

  यूनियन के अध्यक्ष बलवीर वैद ने अनेक बरसों से लंबित सफाई कर्मचारियों की मांग जैसे रिटायर हुवे सफाई कर्मचारियों को पेंशन और हिसाब अनेक महीने नहीं देने के कारण इस कोरोनाकाल में उनके खाने-पीने की समस्या खड़ी हो गयी है,साथ ही उनकी जगह पर अनुकम्पा के तहत परिवार के सदस्य को नौकरी नहीं दी गयी है। कार्यरत सफाई कर्मचारियों का स्वाथ्य परिक्षण नहीं किया गया है। जो कार्यरत रहते हुये किसी बिमारी से ग्रस्त हो जाते है तो उनपर कोई ध्यान नहीं दिया जाता है।

लगातार २५ वर्षो से कामगार वसाहत के घर में रह रहे सफाई कर्मचारी के नाम पर घर करने,उनको समान काम का समान वेतन देने,पहचान पत्र,मेडिकल बिमा कार्ड देने,बढ़ा हुआ धुलाई भत्ता देने, प्रोविडेंट फंड जमा करने की जानकारी देने, जो ड्यूटी है वही काम देने और 58 वर्ष की आयु वाले कर्मचारी तथा गर्भवती महिला कर्मचारी को कोविड सेंटर या अस्पताल में काम पर नहीं रखने जैसी अनेक मांग की गयी है।

उन्होंने अपने पत्र में गंभीर आरोप लगाया है कि कुछ लोग अपनी ऊँची पहुँचके चलते सफाई कर्मचारी होकर भी सफाई का काम नहीं करते है, बल्कि प्यून का या क्लर्क का काम करके और एक ही विभाग में अनेक वर्षो से कार्यरत रहकर मौज लूट रहे है। उन्होंने सफाई कर्मचारियों की दुर्दशा को सुधारने के लिये तुरंत आवश्यक कदम उठाने की मांग की है। इस बाबत में मनपा अधिकारियों ने कोई टिप्पणी नहीं की है। 

Leave a Comment